GAMA PAHLWAN : गामा पहलवान के खाना खुराख सुन होश उड़ जायेंगे आपके | ऐसे भारतीय पहलवान जो अपने जीवन में कभी नहीं हारे है

* " ज्ञान की बात " *
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Gama Pahlwan Biography In Hindi :-

जब जब लोगों के मन में पहलवानों की बात आती है तो भारत के एक महान पहलवान गामा पहलवान का नाम भी आता है इसके अलावा भारत में तो कई पहलवान हुए जैसे दारा सिंह, उदय चांडो लेकिन इन सबमें गामा पहलवान ( Gama Pahlwan ) का नाम सबसे पहले आता है,तो इस लेख में हम इस महान भारतीय गामा पहलवान के जीवन के बारे में महत्वपूर्ण बिंदुओं पर बात करेंगे कि कैसे उन्होंने भी जीवन में दुनिया के महान पहलवान बनने का सफर तय किया।

गामा पहलवान कौन है, ( Who Is Gama Pahlwan )  गामा पहवान का जीवन परिचय :-

भारतीय मूल के गामा पहलवान का जन्म 22 मई 1878 को पंजाब के अमृतसर शहर के अंतर्गत जंबोवाल गांव में हुआ था लेकिन इनके जन्म स्थान को लेकर इतिहासकारों में मतभेद है कुछ इतिहासकारों का मानना है कि इनका जन्म मध्य प्रदेश के दतिया जिले में हुआ था। ऐसे मौके पर गूगल आज डूडल लगाकर  गामा पहलवान के 144वां जन्म दिवस पर सम्मानित किया है , गामा पहलवान का असली नाम गुलाम मोहम्मद बक्श बट था। उनके पिता का नाम मोहम्मद अजीज बक्श था। गामा पहलवान का बचपन बहुत ही कठिनाई से गुजरात बचपन में ही पिताजी और दादा जी के मौत के बाद इनके आगे का जीवन उनके चाचा के साथ कटा, उनके चाचा भी पेसे से पहलवान थे।

गामा पहलवान का जीवन परिचय संक्षिप्त में ( Brief biography of Gama Pahlwan ) :-

  • नाम                -      गामा पहलवान
  • असली नाम     -      गुलाम मोहम्मद बख्श बट
  • अन्य नाम        -      रुस्तम ए हिंद, द ग्रेट गामा
  • पिता का नाम   -     मोहम्मद अजीज बक्स
  • जन्म स्थान       -     अमृतसर जम्बोवाल
  • जन्म दिनांक    -     22 मई 1878
  • ऊंचाई            -      5 फीट 7 इंच
  • वजन              -      113 किलो
  • पेसा               -      पहलवानी

गामा पहलवान पहलवानी करना क्यों इस शुरू किए थे ( Why did Gama Pehelwan start wrestling ) :-

गामा पहलवान के पिताजी भी पहलवानी करते थे, तो ऐसे में मान सकते हैं कि गामा पहलवान को पहलवानी का ज्ञान अपने पिताजी मोहम्मद अजीज बख्श से मिला है। और इस प्रकार गामा पहलवान और महज 10 साल की उम्र में एक पहलवानों की प्रतियोगिता जिसमें गामा पहलवान भी भाग लिया, और इस प्रतियोगिता में 400 लोगों ने भाग लिया और सभी के बीच में गामा पहलवान पहला स्थान प्राप्त किया और इस प्रतियोगिता से उनकी रूचि पहलवानी में और बढ़ गई इसके बाद वे ट्रेनिंग शुरू कर दी। बताते हैं गामा पहलवान ट्रेनिंग के दौरान प्रतिदिन 5000 स्केट्स और 3000 पुश अप किया करते थे इन सब के साथ गामा पहलवान अपने 40 साथियों के साथ डैली कुश्ती किया कारते थे।

गामा पहलवान क्या ( डाइट ) खाते थे ( what did gamma wrestler ( Diet ) eat ) :-

भारतीय पहलवान गामा पहलवान के खाने की बात करें तो एक रिपोर्ट के अनुसार गामा पहलवान प्रतिदिन देशी 6 मुर्गे 10 लीटर दूध 200 ग्राम बादाम को पीसकर खाया करते थे यही उसके इतने ताकत का राज है।

गामा पहलवान को लंदन में खेलने का मौका क्यों नहीं दिया ( Why was Gama Pahlwan not given a chance to play in London )

गामा पहलवान 1890 से 1910 के बीच भारत के कई महानतम पहलवानों के खिलाफ मैच खेले और सभी मैचों में उन्होंने जीत हासिल किया। बताया जाता है कि अपने पहलवानी करियर में गामा पहलवान 5000 से भी अधिक मैच खेले पर किसी भी मैच में वे अरे नहीं। उसके करियर में सिर्फ एक मैच डरा हुआ है। सन 1910 तक भारतीय पहलवान गामा पहलवान का चर्चा दुनिया के कोने- कोने में होने लगा था, इसी समय वह लंदन जाने का विचार किया और लंदन चले गए लेकिन लंदन में उन्हें पहलवानी करने के लिए मना कर दिया। इस समय लंदन में लंदन इंटरनेशनल चैंपियनशिप टूर्नामेंट होना था जिसमें उन्हें एंट्री नहीं मिली इसका कारण था उनकी ऊंचाई गामा पहलवान का ऊंचाई मात्र 5 फीट 7 इंच था जिस कारण उन्हें छोटा हाइट मानकर इस प्रतियोगिता में शामिल होने नहीं दिया। गामा पहलवान ने आधे घंटे के अंदर एक ऐसी चुनौतीपूर्ण शर्त रखी जिसे किसी पहलवान ने स्वीकार नहीं कर सका।

गामा पहलवान की उपलब्धियां ( Achievements of Gama Pahlwan ) :-

गामा पहलवान अपने पहलवानी करियर में कई उपलब्धियां हासिल की है उन्होंने 1910 में मैं वर्ल्ड हैवीवेट चैंपियनशिप अपने नाम किया इसके बाद 1927 में वर्ल्ड कुश्ती चैंपियनशिप को अपने नाम किया। 1927 में हुए वर्ल्ड रेसलिंग चैंपियनशिप में जब गामा पहलवान ने जीत हासिल किया था " टाइगर " की उपाधि से सम्मानित किया गया।इसके बाद प्रिंस ऑफ वेल्स ने अपनी भारत यात्रा के दौरान ऐसे महान पहलवान को सम्मानित करने के लिए चांदी का एक गधा भेंट किया था। माना जाता है कामा पहलवान के पास मार्शल मार्शल आर्ट इश्क रोशनी " द कैट स्ट्रेच " को सीखने के लिए जीत कर दिया जिसके बाद गामा पहलवान ब्रूसली को यह चीज सिखाया भी था। इस प्रकार विश्व प्रसिद्ध है मार्शल आर्टिस्ट ब्रूसली भी गामा पहलवान के फैन थे।

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